भारत के 2030 के अक्षय ऊर्जा लक्ष्यों से इन 3 ग्रीन एनर्जी कंपनियों को होगा लाभ
भारत 2030 तक 500 GW अक्षय ऊर्जा क्षमता प्राप्त करने की ओर तेज़ी से आगे बढ़ रहा है जो वर्तमान 200 GW से ज्यादा है। इसके माध्यम से अक्षय ऊर्जा क्षेत्र में काफी वृद्धि और निवेश के अवसर भी प्रस्तुत हुए हैं। G20 अक्षय ऊर्जा उद्देश्यों के साथ यह महत्वाकांक्षी लक्ष्य, उद्योग में कंपनियों को लाभान्वित करने की संभावना है जिसमे ग्रीन हाइड्रोजन और संधारणीय ऊर्जा समाधानों की बढ़ती मांग शामिल है। इस लेख में हम बात करेंगे भारत की इन लक्ष्यों से किन सोलर और ग्रीन एनर्जी कंपनियों को होगा सबसे ज्यादा फायदा। इस लेख में हम बात करेंगे भारत की सबसे प्रसिद्ध कंपनियों के बारे में जो देश के अक्षय ऊर्जा के क्षेत्र में अपने योगदान दे रही हैं।
1. एनएचपीसी (नेशनल हाइड्रोइलेक्ट्रिक पावर कॉरपोरेशन)
1975 में स्थापित और फरीदाबाद में मुख्यालय वाली एनएचपीसी सोलर और पवन ऊर्जा परियोजनाओं के साथ-साथ जलविद्युत उत्पादन पर ध्यान केंद्रित करती है। इस कंपनी का बाजार पूंजीकरण ₹83,424 करोड़ है और इसके शेयर का वर्त्तमान मूल्य ₹83.04 है।
Q2FY24 कंपनी का राजस्व ₹2,931 करोड़ रहा और Q2FY25 राजस्व ₹3,052 करोड़ रहा जो कंपनी की 4.12% की वृद्धि को दर्शाता है। कंपनी के लाभ की बात करें तो वो भी ₹1,693 करोड़ पर है जो पहले ₹1,069 करोड़ पर था। यह कंपनी सौर और पवन ऊर्जा में विविधीकरण और मजबूत परामर्श सेवाएँ प्रदान करती है जिससे यह निवेशकों के बीच काफी प्रसिद्ध है।
2. वारी एनर्जीज
वारी एनर्जीज भारत की सबसे बड़ी सौर पीवी मॉड्यूल निर्माता है जिसकी क्षमता 12 GW है। यह कंपनी विनिर्माण, EPC सेवाओं और अक्षय ऊर्जा परियोजना विकास में माहिर है और देश की सबसे अनुभवी खिलाडियों में से एक है। कंपनी का वर्त्तमान बाजार पूंजीकरण ₹75,410 करोड़ और इसके शेयर का वर्तमान मूल्य ₹2,626 है।
Q2FY24 में कंपनी का राजस्व ₹3,537 करोड़ रहा और Q2FY25 में राजस्व ₹3,574 करोड़ रहा। कंपनी की लाभ वृद्धि भी पहले ₹320 करोड़ से अब ₹376 करोड़ हो गई है। यह कंपनी घरेलू और अंतर्राष्ट्रीय बाजारों का विस्तार, नवाचार और टिकाऊ ऊर्जा मांग के साथ देश की सबसे बड़ी कंपनियों में से एक है।
3. सुजलॉन एनर्जी
सुजलॉन एक वैश्विक अक्षय ऊर्जा कंपनी है जो पवन टरबाइन विनिर्माण और पवन फार्म विकास में विशेषज्ञता रखती है। इस कंपनी का बाजार पूंजीकरण ₹86,878 करोड़ है और इसके वर्तमान शेयर का मूल्य ₹63.68 है।
Q2FY24 में कंपनी का राजस्व ₹1,421 करोड़ है और Q2FY25 में राजस्व ₹2,103 करोड़ है जो 48% की वृद्धि को दर्शाता है। कंपनी में लाभ वृद्धि ₹102 करोड़ से ₹201 करोड़ पहुँच गई है। यह कंपनी पवन ऊर्जा की बढ़ती मांग और महत्वपूर्ण परिचालन और तकनीकी उन्नति को दर्शाती है।
निष्कर्ष
भारत अपने 2030 लक्ष्यों को पूरा करने के लिए अक्षय ऊर्जा को अपनाने पर जोर दे रहा है और यह कंपनियां स्थायी समाधानों की बढ़ती मांग से लाभ उठाने के लिए रणनीतिक रूप से तैयारी कर रही हैं। अक्षय ऊर्जा क्षेत्र में रुचि रखने वाले निवेशक दीर्घकालिक लाभ के लिए इन शेयरों पर विचार कर सकते हैं।
अस्वीकरण: ऊपर प्रदान की गई जानकारी शैक्षिक उद्देश्यों के लिए है और इससे किसी भी प्रकार की निवेश की सलाह नहीं दी जाती है। किसी भी प्रकार के निवेश निर्णय लेने से पहले किसी पेशेवर से सलाह ज़रूर लें।