8kW का सबसे बेस्ट सोलर सिस्टम लगवाने में कितना खर्चा आता है? जानें

8kW का सबसे बेस्ट सोलर सिस्टम

8-किलोवाट सोलर सिस्टम मुख्य रूप से बड़े स्टोर, पेट्रोल पंप, स्कूलों आदि में इंस्टॉल किया जाता है। जबकि ज्यादातर इंस्टॉलेशन 8 या 10-किलोवाट सोलर सिस्टम का उपयोग करते हैं अगर आपकी डेली पावर कंसम्पशन लगभग 40 यूनिट है तो 8-किलोवाट सोलर सिस्टम बेस्ट रहेगा। पुरानी टेक्नोलॉजी वाले 8-किलोवाट सिस्टम से, आप प्रतिदिन लगभग 35 से 40 यूनिट बिजली जनरेट करने की उम्मीद कर सकते हैं। इसके अपोजिट, एडवांस्ड टेक्नोलॉजी वाले सोलर सिस्टम से आप प्रतिदिन लगभग 40 से 45 यूनिट बिजली पैदा कर सकते हैं। पुरानी टेक्नोलॉजी सिस्ट में आपको आमतौर पर 10 बैटरियों की नीड होगी, जबकि एडवांस्ड टेक्नोलॉजी के साथ आप केवल एक बैटरी के साथ 8 किलोवाट का सोलर सिस्टम इंस्टॉल कर सकते हैं।

8kW का सबसे बेस्ट सोलर पैनल की कीमत

एडवांस्ड टेक्नोलॉजी वाले सोलर सिस्टम ट्रेडिशनल टेक्नोलॉजी सिस्टम की तुलना में थोड़े ज्यादा महंगे हो सकते हैं। इसलिए, यह सुनिश्चित करने के लिए कि आपको सही प्राइस पर अच्छी क्वालिटी वाला सोलर सिस्टम मिले इसमें शामिल सभी कॉम्पोनेन्ट का केयरफूली सेलेक्ट करना इम्पोर्टेंट है। अगर आप फ्यूचर के लिए योजना बना रहे हैं और सोलर सिस्टम में इन्वेस्ट करना चाहते हैं, तो लगभग 10 किलोवाट की कैपेसिटी वाला इन्वर्टर चुनने बेस्ट होगा। यह सुनिश्चित करता है कि आपको इन्वर्टर को बार-बार बदलने की नीड नहीं होगी।

सबसे बेस्ट टेक्नोलॉजी का सोलर इन्वर्टर

सोलर इनवर्टर के मामले में लेटेस्ट टेक्नोलॉजी में ट्रांसफॉर्मरलेस इनवर्टर शामिल हैं, जो लेटेस्ट एडवांसमेंट के साथ आते हैं। इन इनवर्टर में स्मार्ट फीचर्स के साथ-साथ MPPT (मैक्सिमम पावर प्वाइंट ट्रैकिंग) टेक्नोलॉजी भी है। इन स्मार्ट सोलर इनवर्टर से आप इन्हें अपने फोन से कंट्रोल कर सकते हैं। आप अपने फोन से भी पूरी बिजली जनरेशन प्रोसेस को मॉनिटर कर सकते हैं।

हालाँकि, वर्तमान में बाजार में केवल कुछ ही कंपनियां ऐसे स्मार्ट सोलर इनवर्टर बनाती हैं। इसके अलावा, इन कंपनियों में 8 किलोवाट कैपेसिटी वाले स्मार्ट सोलर इनवर्टर मिलना काफी रेयर है। लेकिन एडवांस्ड टेक्नोलॉजी में इन्वेस्ट करने से आप अपनी आवश्यकताओं के आधार पर 10 किलोवाट, 15 किलोवाट या यहां तक कि 20 किलोवाट की एक बड़ी सोलर सिस्टम बनाने के लिए दो 5-किलोवाट इनवर्टर को समानांतर में जोड़ सकेंगे।

सेलक्रोनिक फाल्कन 6G प्लस 8kW/48V सोलर इन्वर्टर

Cellcronic Falcon 6G Plus 8kw-48V-solar-inverter
Source: Nirmal Infinite Power

आप इन्वर्टर पर एक लिथियम बैटरी इंस्टॉल करके अपना 8 किलोवाट का सोलर सिस्टम बना सकते हैं। अगर सोलर इन्वर्टर की सोलर पैनल क्षमता 10 किलोवाट है, तो आप भविष्य में 10 किलोवाट तक के सोलर पैनल जोड़कर अपने सिस्टम को 10 किलोवाट के सोलर सिस्टम में अपग्रेड भी कर सकते हैं।

यह इन्वर्टर 450 वोल्ट के VOC (वोल्टेज ओपन सर्किट) के साथ आता है जिसका मतलब है कि आप इस पर सीरीज में 10 सोलर पैनलों को जोड़ सकते हैं। आप अपने फोन को इस इन्वर्टर से कनेक्ट करके इन्वर्टर की सारी जानकारी अपने फोन पर ले सकते हैं। अगर आप भविष्य में अपने सिस्टम का एक्सपैंड करना चाहते हैं, तो आप 42 किलोवाट तक का सोलर सिस्टम बनाने के लिए कई 6-किलोवाट सोलर इनवर्टर को पैरेलल रूप से कनेक्ट सकते हैं।

ये हैं स्पेसिफिकेशन्स सोलर इन्वर्टर के

  • प्योर साइन वेव आउटपुट
  • 10000W वाइड MPPT (120~450vdc) चार्ज कंट्रोलर
  • मोबाइल मॉनिटरिंग के लिए वाईफाई लॉगर कनेक्ट करने के लिए बाहरी पोर्ट (एंड्रॉइड ऐप उपलब्ध है)
  • BMS के लिए रिजर्व्ड कम्युनिकेशन पोर्ट (RS-485, CAN-Bus या RS232)
  • यूजर-अडजस्टेबल चार्जिंग करंट और वोल्टेज
  • कॉन्फ़िगर करने के लिए AC/PV आउटपुट यूसेज टाइमर और प्रायोटाईजेशन
  • होम एप्लायंस और पर्सनल कंप्यूटर के लिए सेलेक्टेबल इनपुट वोल्टेज रेंज
  • बिल्ट-इन एंटी-डस्ट किट
  • प्रोग्रामेबल मल्टीपल ऑपरेशन मोड
  • 6 यूनिट तक की पैरेलल संचालन
  • 1 साल की वारंटी

सबसे बेस्ट सोलर बैटरी

बैटरियों के संदर्भ में, आपको जो लेटेस्ट टेक्नोलॉजी मिलेगी वह लिथियम बैटरी है। ये मेंटेनेंस-फ्री बैटरियां हैं जिससे आपको इनमें समय-समय पर पानी डालने की नीड नहीं है। वे कोई हार्मफुल गैसें एमिट नहीं करते। लेड-एसिड बैटरियों की तुलना में लिथियम बैटरियां चार से पांच गुना हल्की होती हैं। ये आकार में भी काफी छोटे होते हैं.

सेलक्रोनिक पावरवाल 2.0 5kW/ 48V लिथियम P04 बैटरी

Cellcronic Powerwall 2.0 5kw-48V Lithium PO4 Battery
Source: Cellcronic

इस कंपनी में आपको हर साइज में लिथियम बैटरी मिल जाएगी। अगर आप पहले बताए गए इन्वर्टर के लिए लिथियम बैटरी का ऑप्शन चुनना चाहते हैं तो आप सेलक्रॉनिक कंपनी की 100Ah 25.6V लिथियम बैटरी चुन सकते हैं, जो 2 लीड-एसिड बैटरी के 150Ah के बराबर बैकअप ऑफर करती है। इस बैटरी का एडवांटेज यह है कि इसे काफी हाई करंट के साथ चार्ज और डिस्चार्ज किया जा सकता है। इस बैटरी से आप एक बार में 4 से 8 किलोवाट तक का पावर लोड आसानी से ले सकते हैं। दूसरी ओर, अगर आप ऐसे लोड को लेड-एसिड बैटरियों पर चलाते हैं तो उनकी बैटरी का जीवन काफी कम हो जाता है।

ये हैं बैटरी की विशेषताएं

  • 80% डिस्चार्ज की डेप्थ (DOD) पर 4500 लाइफ साइकिल
  • सेलक्रॉनिक, डेय, वोल्ट्रोनिक और ज्यादातर हाइब्रिड इन्वर्टर ब्रांडों के साथ कम्पैटिबल
  • लॉन्ग लाइफस्पेन के लिए सुपर ग्राफीन लिथियम सेल
  • बेहतर सेफ्टी के लिए स्मार्ट 125ए बैटरी मैनेजमेंट सिस्टम (BMS)
  • कम्युनिकेशन पोर्ट में CAN, RS485 और RS232 शामिल हैं
  • 32 पावरवॉल यूनिट तक के पैरेलल कनेक्शन का सपोर्ट करता है
  • 40 साल के लाइफस्पेन के लिए डिज़ाइन किया गया है
  • सभी पैरामीटर को मॉनिटर के लिए एडवांस्ड LCD स्क्रीन
  • कंटीन्यूअस 120A तक हाई डिस्चार्ज करंट और सर्ज के लिए 350A
  • 5 साल की वारंटी के साथ आता है

8kW सबसे बेस्ट सोलर पैनल की कीमत

यहां सोलर सिस्टम के सभी कॉम्पोनेन्ट के लिए अलग-अलग कॉस्ट प्रदान की गई है, अब आप अनुमान लगा सकते हैं कि 8 किलोवाट एडवांस्ड टेक्नोलॉजी सोलर सिस्टम इंस्टॉल करने में कितनी लागत आएगी।

  • 7.2kW/ 48V इन्वर्टर – ₹1,30,000
  • सोलर बैटरी – ₹1,30,000
  • 8kW सोलर पैनल – ₹3,09,000
  • एडिशनल एक्सपेंस – ₹60,000
  • टोटल कॉस्ट – ₹6,25,000

अगर आप इस सिस्टम में पैसे बचाना चाहते हैं, तो आप हेटेरोजंक्शन टेक्नोलॉजी के बजाय मोनो PERC हाफ कट तकनीक वाले सोलर पैनलों का ऑप्शन चुन सकते हैं। यह चेंज आपको लगभग ₹40,000 सेव सकता है। इसके अलावा, अगर आप 100Ah की बजाय 50Ah की बैटरी चुनते हैं तो आप लगभग ₹60,000 बचा सकते हैं।

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